Saturday, March 24, 2012

Murli [17-03-2012]-Hindi

मुरली सार :- ''मीठे बच्चे - भगवान, जिसे सारी दुनिया याद करती है, वह तुम्हारे सम्मुख बैठा है, तुम ऐसे बाप से पूरा वर्सा ले लो, भूलो मत''

प्रश्न: बाप की श्रीमत पर यथार्थ चलने की शक्ति किन बच्चों में रहती है?
उत्तर: जो अपना सच्चा-सच्चा पोतामेल बाप को सुनाकर हर कदम पर बाप से राय लेते हैं। बाप से राय ली तो उस पर चलने की शक्ति भी मिल जाती है। बाप बच्चों को श्रीमत देते हैं - बच्चे उस कमाई के पीछे यह कमाई मिस नहीं करो क्योंकि वह पाई-पैसे की सारी कमाई खत्म होने वाली है। हर बात में श्रीमत लेते बहुत खबरदार रहो, सम्भलकर चलना है। अपनी मत नहीं चलानी है।

गीत:- छोड़ भी दे आकाश सिंहासन...

धारणा के लिए मुख्य सार:
1) बाप समान निरहंकारी, नम्रचित बनना है। अपनी सेवा अपने हाथ से करनी है। किसी भी बात में अहंकार नहीं दिखाना है।
2) सर्विस के लिए सदा तैयार रहना है। सर्विस के लिए स्वयं को आपेही ऑफर करना है। कौड़ी जैसे मनुष्यों को हीरे जैसा बनाने की सेवा करनी है।

वरदान: अव्यक्त पालना द्वारा शक्तिशाली बन लास्ट सो फास्ट जाने वाले फर्स्ट नम्बर के अधिकारी भव

अव्यक्त पार्ट में आने वाली आत्माओं को पुरूषार्थ में तीव्रगति का भाग्य सहज मिला हुआ है। यह अव्यक्त पालना सहज ही शक्तिशाली बनाने वाली है इसलिए जो जितना आगे बढ़ना चाहे बढ़ सकते हैं। इस समय लास्ट सो फास्ट और फास्ट सो फर्स्ट का वरदान प्राप्त है। तो इस वरदान को कार्य में लगाओ अर्थात् समय प्रमाण वरदान को स्वरूप में लाओ। जो मिला है उसे यूज़ करो तो फर्स्ट नम्बर में आने का अधिकार प्राप्त हो जायेगा।

स्लोगन: स्वमान की सीट पर सेट रहो तो सर्व का मान स्वत: प्राप्त होगा।

In Spiritual Service,
Brahma Kumaris....